डालसा के प्रयास से लापता मुख बधिर बेटी को पाकर माता-पिता हुए खुश
सिद्धार्थ पाण्डेय/चाईबासा
मूक-बधिर एवं मंद बुद्धि विद्यालय सेंटर, चाईबासा में करीब 15 महीनों से झिंगि तिरिया नामक मूक-बधिर युवती अपने परिवार से बिछड़ कर जीवन बिता रही थी. इसकी सूचना वार्डन के माध्यम से डालसा के पीएलवी दिल बहादूर को दी गई. दिल बहादूर ने युवती के परिजनों की खोजबीन प्रारंभ की.
जानकारी मिली कि पड़ोसी राज्य उड़ीसा के बड़बिल से 7 किलोमीटर दूर लूटीबेड़ा गाँव में झिंगि तिरिया के माता-पिता रहते हैं. वहाँ जाकर जब पिता सिकुर और माता सुकमती (सुरु) से मुलाकात कर झिंगि की तस्वीर दिखाई गई तो दोनों ने अपनी बेटी को पहचान लिया. उन्होंने बताया कि एक वर्ष से अधिक हो गया जब से बेटी झिंगि तिरिया गुम हो गई थी. अपने रिश्तेदारों के साथ काफी खोजबीन करने पर भी कोई पता नहीं चला, जिससे सभी निराश हो गए थे.
आज एक वर्ष बाद बेटी के मिलने की खुशी दोनों के चेहरे पर दिखाई दे रही थी. दोनों ने डालसा के इस नेक कार्य के लिए आभार जताया.